Four HIV Cases Now Reported in Jhansi Prison

झांसी जिला जेल में HIV का मामला: 19 वर्षीय बंदी HIV पॉजिटिव, जेल में मरीजों की संख्या बढ़कर हुई चार

Jhansi District Jail: झांसी जिला जेल में बंदियों के स्वास्थ्य को लेकर चलाए जा रहे विशेष अभियान के दौरान एक 19 वर्षीय बंदी HIV पॉजिटिव पाया गया है। इसके साथ ही जेल में इस रोग से ग्रसित बंदियों की संख्या बढ़कर चार हो गई है। हालांकि, राहत की बात यह है कि जांच में एक भी बंदी में टीबी के लक्षण नहीं मिले हैं।

स्क्रीनिंग अभियान और जांच

जेल प्रशासन द्वारा बंदियों के स्वास्थ्य को लेकर गंभीरता दिखाई जा रही है और नियमित जांच कराई जा रही है। वर्तमान में जिला अस्पताल की एक टीम द्वारा बंदियों की टीबी और HIV की जांच की जा रही है। अब तक 773 बंदियों की जांच हो चुकी है, जिसमें एक बंदी HIV पॉजिटिव पाया गया है। अभी 263 बंदियों की जांच बाकी है। जांच टीम में जिला चिकित्सालय के डॉ. पंकज दुबे, परामर्शदाता अंकित मिश्रा, नरेन्द्र, नीतेश व हरगोविन्द शामिल हैं।

पहले के मरीजों की स्थिति

वरिष्ठ जेल अधीक्षक विनोद कुमार सिंह ने बताया कि शासन के आदेश पर जेल के बंदियों की जांच की जा रही है। जेल में पहले HIV से ग्रसित 4 बंदी थे, जिसमें से एक को जमानत मिलने पर रिहा कर दिया गया था। बाकी 3 बंदियों का इलाज चल रहा है। अब एक और बंदी के HIV पॉजिटिव पाए जाने से HIV संक्रमित बंदियों की संख्या फिर से चार हो गई है।

ART उपचार:

डॉ. पंकज दुबे ने बताया कि HIV एक वायरस है और सही समय पर इलाज न होने पर यह एड्स में बदल सकता है। एड्स से पीड़ित व्यक्ति की रोग प्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है और उसे कई बीमारियां घेर लेती हैं। एड्स के मरीज को जीवन भर उपचार कराना पड़ता है। इसके लिए उन्हें एंटी रेट्रोवायरस थैरेपी (ART) दी जाती है, जिससे उन्हें लंबी उम्र और स्वस्थ जीवन जीने में मदद मिलती है। जेल प्रशासन द्वारा सभी HIV पॉजिटिव बंदियों को ART उपचार मुहैया कराया जा रहा है।

जेल में बंदियों की संख्या

वर्तमान में झांसी जिला जेल में 1,036 बंदी हैं, जिनमें 729 विचाराधीन पुरुष, 28 महिला बंदी, 265 दोष सिद्ध पुरुष और 14 दोष सिद्ध महिला कैदी शामिल हैं। एक बच्चा भी एक महिला बंदी के साथ जेल में रह रहा है।

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